_*तदफिन के मसाइल (तदफीन यानी दफनाना)*_
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_*01) कब्र गहरी चौड़ी और साफ सुथरी होनी चाहिए..!*_
_*📕 अबु दाऊद, 3215*_
_*02) करीब-तरीन रिश्तेदारों को चाहिए की मय्यत को कब्र मे उतारे..!*_
_*📕 हाकीम, बैहाकी*_
_*03) जरूरत के वक्त एक कब्र मे एक से ज्यादा मय्यत दफन की जा सकती है।..!*_
_*📕 इब्ने मजा, 1560*_
_*04) शौहर अपनी बिवी की मय्यत को कब्र मे उतार सकता है।..!*_
_*📕 इब्ने मजा*_
_*05) मय्यत कब्र मे रखते वक्त ये दुआ "बिस्मिलल्लाही वा आला सुन्नती रसुलल्लाह सल्लल्लाहु अलैही वसल्लम" पढ़ना सुन्नत है।..!*_
_*📕 मुस्लिम, 1550*_
_*06) कब्र मे तीन मुठ्ठी मिट्टी डालना सुन्नत है।..!*_
_*📕 मुस्लिम 1565*_
_*07) जमीन से कब्र एक बलीस्त से ज्यादा नही होनी चाहिए..!*_
_*📕 अबु दाऊद 3220*_
_*08) कब्र ऊंची बनना, पक्की बनना, या कब्र पर मजार बनना या कोई तामीर करना मना है।..!*_
_*📕 अबु-दाऊद, 3225*_
_*09) कब्र पर नाम तारिखे वफात या कुछ और लिखना मना है।..!*_
_*📕 अबु दाऊद*_
_*10) कब्र बतौर निशानी पत्थर गढ़ना सही है।..!*_
_*📕 इब्ने मजा 1561*_
_*11) दफन के कब्र पर पानी छिड़कना जाएज है।..!*_
_*📕 इब्ने मजा 1551*_
_*12) रात मे दफन करना जाएजा है।..!*_
_*📕 बुखारी 1247*_
_*13) तीन वक्त सुरज निकलने, सुरज सर पर होने, और सुरज डुबते वक्त मे मय्यत को दफन करना मना है।..!*_
_*📕 इब्ने मजा, 1519*_
_*14) दफन के बाद कब्र पर खड़े रहकर मय्यत के लिए सवाल जवाब के वक्त साबीत कदम रहने दुआ करनी चाहिए..!*_
_*📕 अबु दाऊद 3221*_
_*15) कब्र मे अजाब होता है उससे पनाह मांगनी चाहिए..!*_
_*📕 बुखारी, 1377*_
_*16) मय्यत को कब्र मे सुबह शाम ठिकाना जन्नत या जहन्नम दिखाया जाता है।..!*_
_*📕 बुखारी 1379*_
_*17) मोमीन मुर्दे की हड्डी तोड़ना या काटना जिन्दा इंसान के अजा तोड़ना या काटने जैसा है।..!*_
_*📕 अबु दाऊद 3207*_
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