_*बहारे शरीअत, हिस्सा- 01 (पोस्ट न. 069)*_
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_*☝🏻अक़ीदा :- मुर्दे कलाम भी करते हैं और उनकी बातों को आम लोग जिन और इन्सान नहीं सुन सकते लेकिन तमाम किस्म के जानवर वगैरा सुनते हैं।*_
_*☝🏻अक़ीदा :- जब मुर्दे को कब्र में दफन करते हैं उस वक्त कब्र उसको दबाती है। अगर वह मुसलमान है तो कब्र उसे इस तरह दबाती है जैसे माँ प्यार में अपने बच्चे को चिपटा लेती है और अगर काफिर है तो उसको इस जोर से दबाती है कि इघर की पसलिया उधर हो जाती है।*_
_*📕 बहारे शरीअत, हिस्सा 1, सफा 27/28*_
_*📮जारी रहेगा.....*_
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